ओपीडी बंद होने से 30 हजार गंभीर मरीजों की सांसें अटकीं

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लखनऊ। कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए अस्पतालों में सामान्य रोगों की ओपीडी पूरी तरह से बंद कर दी गई है। इसकी वजह से गंभीर मरीजों को ओपीडी में सलाह नहीं मिल पा रही है। सबसे ज्यादा दिक्कतें ब्लड प्रेशर, दिल, गुर्दा, लिवर, डायबिटीज, कैंसर जैसी दूसरी गंभीर बीमारियों से जूझ रहे मरीजों को झेलनी पड़ रही है। लॉकडाउन से दूसरे जिले से मरीज लखनऊ नहीं आ पा रहे हैं।

अंग प्रत्यारोपण करा चुके मरीज बेहाल

डॉक्टरों का कहना है कि अंग प्रत्यारोपण के बाद  मरीजों को नियमित फॉलोअप के लिए आना पड़ता है। बीच में यदि परेशानी हो  गई तो उसका भी निदान तत्काल जरूरी है। ओपीडी बंद होने से इन मरीजों का इलाज भी ठप पड़ा है। लोहिया संस्थान में करीब 60 से ज्यादा लोगों के गुर्दा प्रत्यारोपण हो चुका है। केजीएमयू में लीवर प्रत्यारोपण हुए हैं। पीजीआई में सबसे ज्यादा गुर्दा प्रत्यारोपण हुए हैं लिहाजा फॉलोअप पर भी मरीज काफी आते थे।

कैंसर मरीजों का बढ़ रहा है दर्द

कैंसर के मरीजों की कीमोथेरेपी और रेडियोथेरेपी के लिए भी समय निर्धारित किया जाता है। तय तारीख पर ही रेडियोथेरेपी और कीमोथेरेपी होती थी। ओपीडी में कुछ घंटों के लिए मरीज को भर्ती कर यह प्रक्रिया होती थी। अब यह पूरी तरह से ठप है। लखनऊ के विभिन्न अस्पतालों में करीब 3000 से ज्यादा कैंसर पीड़ित इलाज के लिए आ रहे थे। मरीजों को आगे की तारीख दी जा रही है।

केस एक


कानपुर के दिनेश कुमार गुर्दे की गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं। उनका पीजीआई में इलाज चल रहा है। डॉक्टर ने हर 3 महीने पर खून व यूरिन की जांच कराकर दिखाने की सलाह दी है। लॉकडाउन की वजह से वह 15 दिन बाद भी पीजीआई नहीं आ सके।

केस दो


राजाजीपुरम निवासी राधेश्याम वर्मा ब्लड प्रेशर और शुगर की बीमारी से जूझ रहे हैं। उनका इलाज लोहिया संस्थान में चल रहा है। उन्हें 20 मार्च को डॉक्टर ने ओपीडी में दिखाने की सलाह दी थी। उनकी डायबिटीज नियंत्रण में नहीं है।

मरीजों के हितों को ध्यान में रखते हुए ओपीडी का संचालन बंद किया गया है। इमरजेंसी 24 घंटे चल रही है। जिन मरीजों को ज्यादा दिक्कत है, वह ट्रॉमा सेंटर में आकर इलाज हासिल कर सकते हैं।

-डॉ एसएन शंखवार, सीएमएस, केजीएमयू

कोरोना के मद्देनजर ओपीडी बंद की गई। गुर्दे के मरीजों की डायलिसिस चल रही है। कैंसर मरीजों की कीमोथेरेपी की जा रही है। नए लोगों का पंजीकरण बंद है। किडनी ट्रांसप्लांट और रूटीन में पैथोलॉजी की जांच भी बंद है। स्थितियां सामान्य होने पर चालू किया जाएगा।

-डॉ. श्रीकेश सिंह, प्रवक्ता, लोहिया संस्थान

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