पुलिस ने चौबीस घंटे में सुलझाया क्रूर हत्याकांड: हरिद्वार से चार आरोपी गिरफ्तार

नई दिल्ली: दिल्ली के शाहदरा जिला पुलिस ने मंडोली रोड पर एक व्यक्ति की बेरहमी से पिटाई कर उसकी हत्या के मामले को महज चौबीस घंटे में सुलझा लिया है। पुलिस ने चार आरोपियों को हरिद्वार से गिरफ्तार किया हैं। गिरफ्तार आरोपियों की मौत 21 वर्षीय नितिन, 21 वर्षीय शांतनु, 22 वर्षीय अर्जुन और 21 वर्षीय सोनू के रूप में हुई हैं।

शाहदरा जिला के डीसीपी प्रशांत गौतम ने बताया कि सोमवार को थाना एम.एस. पार्क में एक पीसीआर कॉल आई थी। कॉल में बताया गया कि मंडोली रोड पर कुछ युवक एक व्यक्ति पर हमला कर रहे थे। हमले के बाद पीड़ित बेहोश हो गया और कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रहा था। पीसीआर वैन ने उसे तुरंत जीटीबी अस्पताल पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। मृतक की पहचान रेजाउल हक, निवासी पशिमपारा, उत्तर दिनाजपुर, पश्चिम बंगाल के रूप में हुई। इसके बाद मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई।

टीम ने अपराध स्थल का दौरा किया और सीसीटीवी फुटेज एकत्र किए। संदिग्धों के आने-जाने के रास्तों का नक्शा तैयार किया गया। सीसीटीवी से ऑटो-रिक्शा की पहचान हुई, जिसके मालिक और चालक से पूछताछ के बाद संदिग्धों के ठिकानों का पता लगाने की कोशिश शुरू हुई। आरोपी अपने घरों से फरार हो गए थे। तकनीकी निगरानी और रणनीति के जरिए पुलिस ने उन्हें मेरठ के आसपास ट्रैक किया। संदिग्ध लगातार जगह बदल रहे थे, लेकिन टीम ने उनकी गतिविधियों पर नजर रखी। अंततः हरिद्वार में उनका पता चला। भारी भीड़ के बावजूद पुलिस ने मुख्य आरोपी नितिन सहित शांतनु, अर्जुन और सोनू को गिरफ्तार कर लिया।

पूछताछ में पता चला कि घटना की शुरुआत खारी बावली के पीली कोठी इलाके में हुई, जहां दो अज्ञात व्यक्तियों ने आरोपियों को लूटने की कोशिश की। जवाब में नितिन ने अपने चचेरे भाई शांतनु और दोस्तों अर्जुन व सोनू के साथ मिलकर एक व्यक्ति को पकड़ा और उसे हरदेव पुरी, शाहदरा में एक वाटर सप्लाई दुकान पर ले गए। वहां पीड़ित की पिटाई की गई और फिर उसे बाहर खींचकर जैन साड़ी दुकान के सामने सार्वजनिक रूप से पीटा गया। पीड़ित के भागने पर मंडोली रोड तक उसका पीछा किया गया और दोबारा हमला कर उसे बेहोश कर दिया। इसके बाद आरोपी ऑटो-रिक्शा और मोटरसाइकिल से फरार हो गए।

आरोपियों ने गंग नहर रोड से मेरठ, फिर बागपत के बरवाला गांव और सहारनपुर होते हुए हरिद्वार तक भागने की कोशिश की। पीड़ित की मौत की खबर मिलने पर उन्होंने फोन बंद कर छिपने का प्रयास किया, लेकिन पुलिस ने तकनीकी सहायता से उन्हें धर दबोचा।

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