राजस्थान/जयपुर। विधानसभा की दो सौ में से 199 सीटों के लिए शुक्रवार को सुबह 8 बजे से मतदान जारी है।अलवर जिले की रामगढ़ सीट पर बसपा प्रत्याशी लक्ष्मण सिंह का निधन होने की वजह से चुनाव टाल दिया गया है।
दोपहर 12 बजे तक 21.89% वोटिंग हो चुकी है। मतदान केंद्र पर लोगों की लंबी कतारें देखी जा रही हैं।
जयपुर स्थित बूथ पर वोट डालने पहुंचे मुख्य सचिव डीबी गुप्ता को ईवीएम में गड़बड़ी के चलते करीब 20 मिनट तक इंतजार करना पड़ा। वहीं, बीकानेर में वोट डालने पहुंचे केंद्रीय राज्यमंत्री अर्जुन राम मेघवाल ईवीएम में खराबी के चलते वोट नहीं डाल पाए हैं।
उधर, कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कहा कि चुनाव जीतने के बाद ही मुख्यमंत्री तय करेंगे। कांग्रेस ने इस बार चुनाव में मुख्यमंत्री उम्मीदवार का नाम तय नहीं किया था।
चुनाव प्रचार की कमान पायलट और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के हाथ में रही। उधर, तेलंगाना की 119 सीटों पर सुबह 11 बजे तक 23.4 % मतदान हुआ।
मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने झालरापाटन में वोट डाला। यहां महिलाओं के लिए स्पेशल पिंक बूथ बनाया गया है। राजे ने कहा, ” मैं शरद यादव के बयान से अपमानित महसूस कर रही हूं।
भविष्य में ऐसा न हो इसके लिए चुनाव आयोग को उनके बयान पर संज्ञान लेना चाहिए।” शरद ने बुधवार को राजस्थान के दौसा जिले के मंडावर की सभा में कहा था कि वसुंधरा को आराम दो वे काफी थक गई हैं। बहुत मोटी हो गई हैं। पहले पतली थी।
जयपुर, कोटा, बाड़मेर, रावतसर और झुंझनू समेत कई अन्य जिलों में करीब 30 ईवीएम और वीवीपैट मशीनें खराब होने की खबरें हैं।
निर्वाचन अधिकारियों का कहना है कि जहां भी मशीनों में तकनीकी गड़बड़ी की सूचना मिल रही हैं। उनको तुरंत ठीक किया या बदला जा रहा है।
2274 प्रत्याशी मैदान में
15वीं विधानसभा के लिए राज्य के 33 जिलों के 51687 पोलिंग बूथ पर 4.75 करोड़ मतदाता 2274 प्रत्याशियों के लिए अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे। इनमें 2.27 करोड़ महिला मतदाता शामिल हैं। राज्य में 1951 से अभी तक 14 बार चुनाव हुए।
इनमें चार बार भाजपा, एक बार जनता पार्टी और 10 बार कांग्रेस ने सरकार बनाई। 1993 के बाद से हर बार सरकार बदलती रही। इस बार भी कांग्रेस इसी उम्मीद के साथ चुनाव लड़ी है,
लेकिन भाजपा का दावा है कि इस बार 25 साल से चली आ रही परंपरा टूट जाएगी। उधर, तेलंगाना की 119 सीटों पर सुबह 9 बजे तक 8.97% मतदान हुआ।
इस बार 88 पार्टियां मैदान में हैं। 2013 के चुनाव में 58 पार्टियों ने हिस्सा लिया था।
भाजपा ने सभी 200, कांग्रेस 195 और बसपा 190 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया था।
आम आदमी पार्टी ने 30 जिलों में अपने प्रत्याशी उतारे हैं। नई पार्टियों में जन अधिकारी, हिन्द कांग्रेस, जनतावादी कांग्रेस, भारतीय पब्लिक लेबर, अंजुमन और आरक्षण विरोधी शामिल हैं।
दल |
1993 |
1998 |
2003 |
2008 |
2013 |
भाजपा |
95 |
33 |
120 |
78 |
163 |
कांग्रेस |
76 |
153 |
56 |
96 |
21 |
अन्य |
29 |
14 |
24 |
26 |
16 |
कुल सीटें |
दो सौ |
200 |
दो सौ |
200 |
200 |
वोट प्रतिशत |
60.6% |
63.4% |
67.2% |
66.5% |
75.23% |
इन पर रहेगी नजर
1) झालरापाटन : मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे (भाजपा) vs मानवेंद्र सिंह (कांग्रेस)। राजे इस सीट से चौथी बार चुनाव लड़ रही हैं। कांग्रेस ने जसवंत के बेटे और पूर्व भाजपा नेता मानवेंद्र सिंह को मैदान में उतारा है।
2) टोंक : यूनुस खान (भाजपा) vs सचिन पायलट (कांग्रेस)। इस सीट पर भाजपा और कांग्रेस दोनों ने परंपरा तोड़ी है। 1972 के विधानसभा चुनाव से कांग्रेस यहां मुस्लिम उम्मीदवार ही उतार रही थी।
1980 से भाजपा ने यहां से सिर्फ हिंदू उम्मीदवार को ही टिकट दिया। इस बार समीकरण बदल गए। खान भाजपा के एकमात्र मुस्लिम चेहरा हैं।
3) सरदारपुरा : शंभूसिंह खेतासर (भाजपा) vs अशोक गहलोत (कांग्रेस)। दो बार मुख्यमंत्री रह चुके गहलोत पिछले चार चुनाव से इस सीट से विधायक हैं। पिछले चुनाव में इस सीट पर गहलोत ने खेतासर को 18 हजार से ज्यादा वोटों से हराया था।
4) उदयपुर शहर : गुलाबचंद कटारिया (भाजपा) vs डॉ गिरिजा व्यास (कांग्रेस)। राजे सरकार में गृहमंत्री कटारिया मौजूदा विधायक हैं। गिरिजा ने 1985 के विधानसभा चुनाव में कटारिया को हराया था।
5) नाथद्वारा : महेश प्रताप सिंह (भाजपा) vs डॉ. सीपी जोशी (कांग्रेस)। भाजपा ने कांग्रेस छोड़कर आए महेश प्रताप सिंह को टिकट दिया है। महेश करीब 11 साल बाद भाजपा में लौटे हैं। उधर, जोशी चार बार इस सीट से विधायक रह चुके हैं। 2008 का चुनाव सिर्फ एक वोट से हार हार गए थे।
दोनों दलों ने 21 दिन में 656 सभाएं कीं
15 नवंबर से 5 दिसंबर के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अध्यक्ष अमित शाह समेत भाजपा नेताओं ने 223 सभाएं कीं। इनमें प्रधानमंत्री मोदी की 12, शाह की 20 और वसुंधरा राजे 75 सभाएं और रोड शो शामिल हैं।
उधर, राहुल गांधी, पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत समेत कांग्रेस नेताओं ने 433 सभाएं कीं। इनमें राहुल की 9, सचिन पायलट की 230 और अशोक गहलोत ने 100 सभाएं कीं।
तेलंगाना विधानसभा की 119 सीटों में से नक्सल प्रभावित 13 सीटों पर शाम 4 बजे तक और बाकी सीटों पर शाम 5 बजे तक वोट डाले जाएंगे।
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राज्य में 32815 मतदान केंद्रों पर 1.39 करोड़ महिलाओं सहित 2.8 करोड़ से ज्यादा मतदाता आज अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे। यहां 1824 प्रत्याशी मैदान में हैं।
दल |
सीटें |
वोट शेयर |
टीआरएस |
63 |
34.3 % |
कांग्रेस |
21 |
25.2 % |
टीडीपी |
15 |
14.7 % |
एआईएमआईएम |
7 |
3.8 % |
भाजपा |
5 |
7.1 % |
निर्दलीय |
1 |
5 % |