सीतापुर : बसपा का वजूद धीरे-धीरे हो रहा समाप्त, कोई बसपा का हाल पूछने वाला नहीं रहा

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राजनीति के समुद्र की गहराई मैं कौन कहां पहुंच जाए कब क्या हो जाए इसका कोई पता नहीं वहीं कुछ घटनाक्रम सीतापुर बसपा का देखने को मिल रहा है एक समय वह था कि हमने देखा कि बसपा की आवाज कोने-कोने से गूंज रही थी आज बसपा का नाम लेने वाला कोई नहीं जैसा कि सीतापुर सिधौली- यूपी में जबरदस्त मोदी लहर के बावजूद भी वर्ष 2017 मैं सिधौली विधान सभा क्षेत्र से बसपा को जीत दिलाने वाले डॉक्टर हर गोविंद भार्गव को बसपा सुप्रीमो मायावती ने जोरदार झटका दे दिया।
बसपा मुखिया ने अनुशासनहीनता के मामले में डॉक्टर हर गोविंद भार्गव समेत 6 विधायकों को पार्टी से निलंबित कर दिया। भार्गव जी का कहना है कि पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष को किसी भी कार्यकर्ता व पदाधिकारी को निलंबित करने का विशेषाधिकार है। भार्गव का कहना है कि उन्होंने कभी भी पार्टी के साथ विश्वासघात नहीं किया।
उनका कहना है कि 2017 के विधानसभा में मोदी लहर के बावजूद सिधौली शीट जीत कर बसपा की झोली में डाली थी। विधानसभा चुनाव के पहले बसपा के कई दिग्गज पार्टी छोड़ कर सपा भाजपा और कांग्रेस में चले गए लेकिन मैं चट्टान की तरह इस पार्टी मे साथ खड़ा रहा है। विपरीत परिस्थितियों में भी जीत दर्ज बावजूद पार्टी के पूर्व मुखिया लालजी भार्गव को सिधौली विधानसभा क्षेत्र का प्रभारी बना दिया, जबकि मौजूदा टाइम में विधायक हुं।
ऐसे में गुस्सा होना स्वभाविक है। उन्होंने कहा कि बसपा की कुछ विधायक सपा के साथ गठजोड़ कर रहे थे, जिसमें मेरा नाम भी घसीटा गया था। जबकि हकीकत यह है कि विरोध करने वाले विधायकों के साथ में नहीं था। मेरे ससुर का देहांत हो गया, मैं उनके अंतिम संस्कार में शामिल होने गया था।
किन कारणों के कारण मेरा नाम बागी विधायकों में शामिल किया गया मैं इस पर कोई टिप्पणी नहीं कर सकता। डॉक्टर हरगोविंद भार्गव ने कहा की मैं बसपा सुप्रीमो मायावती से मिलकर अपना पक्ष रखेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि बहन से पूछेंगे कि उनके साथ क्या खता थी जिसकी सजा उनको दी गई। जिसके बाद वह आगे की रणनीति तय करेंग
राष्ट्रीय जजमेंट मीडिया ग्रुप 
रिपोर्टिंग ओपी शुक्ला सीतापुर

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