सफदरजंग अस्पताल में बच्चों के साथ जश्न-ए-बचपन: दिव्यांग बच्चों ने रंगों और खेलों से भरी उड़ान

नई दिल्ली: सफदरजंग अस्पताल के भौतिक चिकित्सा एवं पुनर्वास (पीएमआर) विभाग ने बाल दिवस को यादगार बना दिया। यहां दिव्यांग बच्चों के चेहरों पर मुस्कान बिखेरते हुए समावेशिता, क्षमता और आनंद का संदेश दिया गया। व्यावसायिक चिकित्सा इकाई और चिकित्सा सामाजिक कल्याण इकाई ने मिलकर रंग भराई, मजेदार खेल और चिकित्सकीय व्यायामों का आयोजन किया, जिसमें करीब 35 विशेष आवश्यकता वाले बच्चों ने जोश के साथ शिरकत की।

ये गतिविधियां सिर्फ मनोरंजन नहीं, बल्कि रचनात्मकता, सामाजिक मेलजोल और मोटर कौशल को बढ़ावा देने वाली थीं। बच्चों की चहकती हंसी और उत्साह ने पूरे वार्ड को खुशियों से भर दिया। कार्यक्रम का मकसद था—हर बच्चे को बचपन का हक दिलाना, चाहे शारीरिक या विकासात्मक चुनौतियां कितनी भी क्यों न हों।

अस्पताल निदेशक डॉ. संदीप बंसल ने कहा, “हर बच्चा बचपन की खुशी का हकदार है। देखभाल, करुणा और चिकित्सकीय सहारे से दिव्यांग बच्चे भी कमाल कर सकते हैं।” चिकित्सा अधीक्षक डॉ. चारु बंबा ने पीएमआर टीम की तारीफ की, “ऐसे आयोजन बच्चों और परिजनों का हौसला बढ़ाते हैं, साथ ही पुनर्वास सेवाओं की अहमियत रेखांकित करते हैं।”

पीएमआर विभागाध्यक्ष डॉ. अजय गुप्ता ने बताया, “व्यावसायिक चिकित्सा बच्चों को रोजमर्रा की जिंदगी में सक्रिय बनाती है। टीम की मेहनत और बच्चों का जज्बा काबिल-ए-तारीफ है।”

कार्यक्रम का समापन उपहार और जलपान वितरण के साथ हुआ। प्रभारी व्यावसायिक चिकित्सक नीलम वर्मा और उनकी टीम ने अस्पताल प्रशासन का आभार जताया तथा दिव्यांग बच्चों के सशक्तिकरण की प्रतिबद्धता दोहराई।

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