शिक्षा विभाग में बड़ा फर्जीवाड़ा; फर्जी सर्टिफिकेट से सहारे कई साल से कर रहे थे नौकरी, पांच शिक्षक बर्खास्त

राष्ट्रीय जजमेंट

महराजगंज: बेसिक शिक्षा विभाग में बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है. जिले के विभिन्न स्कूलों में फर्जी प्रमाणपत्रों के आधार पर वर्षों से नौकरी कर रहे शिक्षकों पर कार्रवाई हुई है. जांच में पकड़े गए पांच शिक्षकों को जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) रिद्धि पांडेय ने तत्काल प्रभाव से बर्खास्त कर दिया है. साथ ही खंड शिक्षा अधिकारियों को इनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने का निर्देश दिया है. इस कार्रवाई से शिक्षा विभाग में हड़कंप मच गया है.बीएसए रिद्धि पांडेय ने बताया कि जांच के दौरान पता चला सामने आया कि मिठौरा ब्लाक के प्राथमिक विद्यालय परसौनी के प्रधानाध्यापक शिवशंकर यादव 1995 से कार्यरत हैं. जांच में शिवशंकर का हाईस्कूल (1977) और इंटर (1979) प्रमाण पत्र फर्जी पाया गया. इसी तरह परतावल ब्लाक के उच्च प्राथमिक विद्यालय परसौना में तैनात सहायक अध्यापक घनश्याम का भी हाईस्कूल (1984) प्रमाणपत्र फर्जी मिला है. घनश्याम ने 1997 में नियुक्ति पाई थी और 2003 में महराजगंज स्थानांतरित होकर आए थे.
जबकि घुघली ब्लाक के प्राथमिक विद्यालय जगदीशपुर की शिक्षिका शबाना खातून, परतावल ब्लाक के प्राथमिक विद्यालय पिपरा खादर के खुश्बूद्दीन और बसहिया बुजुर्ग प्राथमिक विद्यालय की सहायक अध्यापक जगलक्ष्मी ने फर्जी शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) प्रमाणपत्र के आधार पर नौकरी हासिल की थी. तीनों ने 2013 का फर्जी टीईटी प्रमाणपत्र लगाकर 2016 में नियुक्ति प्राप्त की थी.
बीएसए रिद्धि पांडेय ने बताया कि विभाग फर्जीवाड़े को कतई बर्दाश्त नहीं करेगा. फर्जी दस्तावेज लगाने वाले शिक्षकों ने शिक्षा व्यवस्था को बदनाम करने का काम किया है. पांचों शिक्षकों की सेवा समाप्त करने के साथ ही प्राथमिकी दर्ज कराकर आगे की कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित कराई जा रही है.

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