ओडिशा कैबिनेट ने एआई नीति को दी मंजूरी, सरकारी नौकरियों के लिए आवेदन की आयु सीमा बढ़ाकर 42 वर्ष की

राष्ट्रीय जजमेंट

ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक में ओडिशा कृत्रिम मेधा नीति , 2025 को मंजूरी दी गई और सरकारी नौकरियों के लिए आवेदन की अधिकतम आयु सीमा बढ़ाकर 42 वर्ष कर दी गई।

मुख्य सचिव मनोज आहूजा ने बैठक के बाद संवाददाताओं को बताया कि कैबिनेट ने वाणिज्य और परिवहन, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण, लोक निर्माण और सामान्य प्रशासन विभागों के पांच प्रस्तावों को मंजूरी दी।

आहूजा ने कहा कि राज्य ने कृत्रिम मेधा (एआई) की परिवर्तनकारी संभावनाओं को अपनाने की दिशा में उल्लेखनीय प्रगति की है। नई नीति शासन में सुधार, नवोन्मेष को बढ़ावा देने, डेटा-आधारित नीति निर्धारण को सशक्त करने और समावेशी सामाजिक-आर्थिक विकास को बढ़ावा देने में मदद करेगी।

उन्होंने कहा कि नीति एआई बुनियादी ढांचा, कौशल, ऊर्जा और नियामक ढांचे सहित चार मूल स्तंभों के इर्द-गिर्द एक स्पष्ट रोडमैप प्रस्तुत करती है। यह नीति उच्च स्तरीय कंप्यूटिंग क्षमता को सुलभ कराने, बड़े आंकड़ों तक पहुंच सुनिश्चित करने, उद्योग-अकादमिक सहयोग को प्रोत्साहित करने और सतत एवं हरित एआई तैनाती के लिए रणनीतिक ढांचा प्रदान करेगी।

आहूजा ने कहा, नीति के तहत एक समर्पित ओडिशा एआई मिशन सभी विभागों में एआई पहलों के कार्यान्वयन, पायलट परियोजनाओं के समन्वय और सार्वजनिक एजेंसियों, स्टार्टअप्स व शैक्षणिक संस्थानों को सहायता देने के लिए शीर्ष संस्थागत तंत्र के रूप में कार्य करेगा। उन्होंने कहा कि इस नीति के माध्यम से ओडिशा खुद को एआई स्टार्टअप्स, निर्यात योग्य एआई समाधान और सार्वजनिक नवोन्मेष का अग्रणी केंद्र बनाना चाहता है।

मुख्य सचिव ने यह भी बताया कि कैबिनेट ने सरकारी सेवाओं में आवेदन के लिए अधिकतम आयु सीमा 32 से बढ़ाकर 42 वर्ष करने की मंजूरी दी है ताकि ज्यादा उम्र के उम्मीदवारों को विभिन्न भर्ती परीक्षाओं में भाग लेने का पर्याप्त अवसर मिल सके।

उन्होंने कहा, “एसटी/एससी/एसईबीसी/महिला/भूतपूर्व सैनिक/दिव्यांग व्यक्तियों के लिए यह आयु सीमा सरकारी नियमों के अनुसार और भी शिथिल की जा सकेगी।” कैबिनेट ने जगतसिंहपुर जिले के जटाधार मुहान में एक कैप्टिव जेट्टी के विकास के लिए ओडिशा सरकार और जेएसडब्ल्यू उत्कल स्टील लिमिटेड के बीच समझौता करने की अनुमति भी दी।

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