पाकिस्तान को गीदड़ भभकी देते रहे पीएम मोदी: रालोद
लखनऊ। राष्ट्रीय लोकदल ने आज यहां केन्द्र की मोदी सरकार और भाजपा पर जोरदार हमला बोला। रालोद ने आतंकी हमले में सीआरपीएफ जवानों की शहादत के बाद की जा रही भाजपा और पीएम मोदी की चुनावी रैरियों पर सवाल खडे़ किये तो वहीं पाकिस्तान में घुसकर आक्रमण किये जाने के लिए भारतीय सेना के जवानों को बधाई दी।
रालोद ने मंगलवार को पार्टी के प्रदेश मुख्यालय में प्रेसवार्ता आयोजित कर किसानों, महिलाओं और गंगा सफाई के लिए नमामि गंगे योजना पर केन्द्र सरकार की नीतियों को कटघरे में खड़ा किया। रालोद के प्रदेश अध्यक्ष डॉ0 मसूद अहमद और राष्ट्रीय महासचिव शिवकरन सिंह ने वार्ता में कहा कि चुनावी वर्ष चल रहा है और भाजपा अपनी कार्यशैली आश्चर्यजनक ढंग से चला रही है।
देश के 43 सीआरपीएफ के जवान इनके खूफिया तंत्र की नाकामी के फलस्वरूप अकाल मृत्यु का ग्रास बन गये इस अप्रत्याशित घटना के कारण सभी राजनैतिक दलों ने अपने समस्त कार्यक्रम स्थगित कर दिये, लेकिन भाजपा की चुनावी रैली उस दिन भी हुई और देश के प्रधानमंत्री लगातार चुनावी रैलियां करते रहे।
केवल देश की जनता को भ्रमित करने के लिए पाकिस्तान को गीदड़ भभकी देते रहे। आज भारतीय सेना के वीर जवानों को मैं तहेदिल से बधाई देना चाहता हूं कि उन्होंने पाकिस्तान में घुसकर आक्रमण किया और आतंकवाद को नेस्त नाबूद करने का कदम उठाया।
किसानों का अमूल्य वोट खरीदने की की जा रही नाकाम कोशिश
रालोद के प्रदेश अध्यक्ष डॉ0 मसूद अहमद और राष्ट्रीय महासचिव शिवकरन सिंह ने पार्टी कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में कहा कि किसानों को 6000 रूपये वार्षिक किसान सम्मान निधि योजना शुरू करके चुनाव से पूर्व 2000 हजार रूपये देकर किसानों का अमूल्य वोट खरीदने की नाकाम कोशिश की जा रही है।
किसानों को 5 वर्ष पूर्व आय दुगुनी करने का वादा करने वाले लोगों ने सम्पूर्ण कार्यकाल में किसानों का भद्दा मजाक उडाया और खाद, बीज, उर्वरक, डीजल का मूल्य व अन्य कृषि यंत्रों की लागत बराबर बढ़ती रही लेकिन केन्द्र सरकार कुम्भकर्णी नींद सोती रही और किसानों को नये-नये सपने दिखाने का कुचक्र चलता रहा। गन्ना किसानों की दुर्गति लगातार हो रही है आज भी गन्ना किसानों का लगभग 11000 करोड़ रूपया प्रदेश की गन्ना मिले दबाये बैठी हैं।
नमामि गंगे योजना में खर्च धनराशि की जांच सीबीआई से करायी जाय
रालोद नेताओं ने कहा कि गंगा सफाई के नाम पर लगभग 20000 करोड़ रूपया खर्च किया गया लेकिन गंगा जैसी पवित्र नदी जैसी की तैसी है क्योंकि नदीं में गिरने वाले नालों को ही नहीं मोड़ा जा सका। इससे यह सिद्व होता है कि गंगा को निर्मल और अविरल करने की नीयत ही नहीं थी।
राष्ट्रीय लोकदल मांग करता है कि नमामि गंगे योजना के नाम पर आवंटित की गयी धनराशि के खर्च की जांच सीबीआई से करायी जाय ताकि वास्तविकता का पता आम जनता को लगे। कहीं ऐसा तो नहीं कि इसमें भी एन्वेस्टर्स समिटि की तरह करोड़ों रूपयों का बंदरवाट किया गया है?
उ.प्र. की कानून-व्यवस्था पूर्णतः ध्वस्त, केवल बचा है कानून