ईडी के गिरफ्तार करने के दूसरे दिन ‘गुजरात समाचार’ के मालिक बाहुबली शाह को मिली अंतरिम जमानत

राष्ट्रीय जजमेंट

अहमदाबाद की एक सत्र अदालत ने शुक्रवार को प्रमुख गुजराती समाचार पत्र ‘गुजरात समाचार’ के मालिकों में से एक बाहुबली शाह को स्वास्थ्य आधार पर 15 दिन की अंतरिम जमानत दे दी।

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अखबार के परिसरों पर छापेमारी के बाद शाह को गिरफ्तार किया था। प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश के. एम. सोजित्रा ने बाहुबली शाह की नियमित जमानत अर्जी पर सुनवाई स्थगित करते हुए उन्हें 31 मई तक अंतरिम जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया।

सत्र अदालत ने बाहुबली शाह (73) को 10,000 रुपये की जमानत राशि और निजी मुचलका जमा करने का निर्देश दिया। सत्र अदालत ने कहा कि जांच अधिकारी को हर दूसरे दिन बाहुबली शाह के स्वास्थ्य की स्थिति से अवगत कराया जाए तथा शाह भी जांच एजेंसी के साथ सहयोग करें।

ईडी ने अंतरिम जमानत का विरोध नहीं किया और कहा कि वह ‘पूरी तरह से मानवीय आधार और आरोपी की गंभीर चिकित्सा स्थिति को देखते हुए’ अपनी सहमति दे रही है।

ईडी ने बृहस्पतिवार रात आठ बजे बाहुबली शाह को गिरफ्तार किया था। बाहुबली शाह लोक प्रकाशन लिमिटेड के निदेशकों में से एक हैं, जो ‘गुजरात समाचार’ का मालिक है। उनके बड़े भाई श्रेयांश शाह दैनिक के प्रबंध संपादक हैं।

अदालत को बताया गया कि गिरफ्तारी के तुरंत बाद शाह की तबीयत बिगड़ने पर उन्हें सरकारी अस्पताल ले जाया गया और वहां से उन्हें एक निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्हें आईसीयू में भर्ती कराया गया। शाह ने ‘गंभीर चिकित्सा/स्वास्थ्य स्थिति’ के आधार पर जमानत का अनुरोध करते हुए अदालत का रुख किया था।

न्यायाधीश ने कहा, ‘‘न्याय के हित में होगा अगर आरोपी को उसकी नियमित जमानत याचिका की सुनवाई के दौरान शर्तों के साथ अंतरिम जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया जाए।’’

केंद्रीय एजेंसी ने शाह की गिरफ्तारी के कारणों के बारे में अब तक कोई बयान जारी नहीं किया है। विधायक और कांग्रेस की गुजरात इकाई के कार्यकारी अध्यक्ष जिग्नेश मेवाणी ने आरोप लगाया कि अखबार और उसके मालिकों को निशाना बनाया जा रहा है, क्योंकि पिछले 25 वर्षों से गुजरात समाचार केंद्र सरकार की आलोचना करने वाली रिपोर्ट प्रकाशित कर रहा है।

इससे पहले, ‘प्रेस क्लब ऑफ इंडिया’, ‘इंडियन विमेंस प्रेस कोर’, ‘प्रेस एसोसिएशन’, ‘दिल्ली यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स’, ‘केरल यूनियन ऑफ वर्किंग जर्नलिस्ट्स’ और ’वर्किंग न्यूज कैमरामैन एसोसिएशन’ समेत कई संगठनों ने बाहुबली शाह की गिरफ्तारी पर कहा था कि ईडी की कार्रवाई ‘‘प्रेस की स्वतंत्रता और लोकतांत्रिक मूल्यों पर एक परेशान करने वाला हमला है।’’

उन्होंने कहा था कि शाह की गिरफ्तारी मीडिया घरानों को चुप कराने और असहमति की आवाजों को दबाने के लिए राज्य मशीनरी के दुरुपयोग के बारे में सवाल उठाती है।

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