पत्रकारों के लिए सुरक्षा एवं विभिन्न सुविधाओं को लागू करे भारत सरकार

संवाददाता – पप्पी चौधरी मेरठ
रत सरकार पत्रकारों की सुरक्षा करने के लिए क्यों संचोक करती हैं? जबकि भारत संविधान में पत्रकारिता को चौथा स्तंभ का दर्जा दिया गया है जिसमें पत्रकार विभिन्न सुविधाओं से वंचित हैं |
सरकार द्वारा किसी तरह की कोई सुविधा कोई सुरक्षा नहीं दी जा रही है जबकि हम न्यायपालिका, कार्यपालिका, विधायक, तीनों पर निगरानी एवं देखवाल करने वाली चौथा स्तंभ है फिर भी अपने अधिकार कानून सुविधाओं से वंचित क्यों है ? न्यायपालिका कार्यपालिका विधायक सभी कानूनी सुरक्षा एवं अन्य सुविधा अधिकार प्राप्त हैं जैसे बिजली, पानी, महंगाई भत्ता, भवन, शिक्षा, चिकित्सा, हवाई यात्रा, रेल यात्रा, वेतन एवं पेंशन आदि विभिन्न तरह की सुविधाएं प्राप्त है देश के चौथे स्तंभ को कोई भी सुविधा क्यों प्राप्त नहीं, जबकि यह चौथा स्तंभ निष्पक्ष निर्भीक निडर होकर गर्मी सर्दी बरसात से चिल्लाती हुई धूप किसी की परवाह करे बिना अपने कार्य को करता है अब चौथे स्तंभ के साथ उत्पीड़न फर्जी मुकदमे मानसिक व शारीरिक एवं बौद्धिक उत्पीड़न किया जा रहा है पत्रकारों के साथ विभिन्न राज्यों के जिलों में पत्रकारों पर फर्जी मुकदमे ,बदसलूकी और पत्रकारों को जान लेवा हमले हो रहे हैं |
जिसमें सरकार कुछ नहीं कर रही है कोई किसी तरह की कोई सुरक्षा या सुविधा सरकार द्वारा नहीं मिल रही है अब पानी सर से ऊपर निकल चुका है पत्रकारों की हत्या होना और उनके साथ मारपीट होना जान से मारने की धमकी यह सब आम बात हो गई हैं सरकार को चौथे स्थान की अव्हेलना करना निंदनीय एवं कार्यप्रणाली का प्रश्न चिन्ह है? केंद्र सरकार चौथे स्तंभ के हितों का ध्यान रखते हुए सुरक्षा कानून एवं अन्य सुविधा को लागू करनी होगी, अन्यथा चौथा स्तंभ अपने अधिकारों एव सुविधाओं के लिए धरना प्रदर्शन कर बड़ा आंदोलन करना बांध्य होने पर इसकी जिम्मेदारी केंद्र सरकार की होगी |

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