पढ़िए आज का राशिफल और पंचांग, 01 जुलाई 2022

नीरजपाराशर आचारय:

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*** जय श्री राधे ***

?? *महर्षि पाराशर पंचांग* ??

??? *अथ  पंचांगम्* ???

***ll जय श्री राधे ll***

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*दिनाँक:-01/07/2022, शुक्रवार*

द्वितीया, शुक्ल पक्ष,

आषाढ

“”””””””””””””””””””””””””””””“”””””””””””(समाप्ति काल)

तिथि———- द्वितीया 13:08:48        तक

पक्ष———————— शुक्ल

नक्षत्र————- पुष्य 27:54:52

योग———–व्याघात 10:44:38

करण———– कौलव 13:08:48

करण———– तैतुल 26:14:29

वार———————– शुक्रवार

माह———————— आषाढ

चन्द्र राशि——————-   कर्क

सूर्य राशि——————   मिथुन

ऋतु————————- ग्रीष्म

सायन———————— वर्षा

आयन—————— उत्तरायण

सायन—————- दक्षिणायण

संवत्सर———————- नल

संवत्सर (उत्तर)—————– राक्षस

विक्रम संवत————— 2079

विक्रम संवत (कर्तक)———- 2078

शक संवत—————— 1944

वृन्दावन

सूर्योदय————— 05:28:37

सूर्यास्त—————- 19:17:26

दिन काल————- 13:48:49

रात्री काल———— 10:11:32

चंद्रोदय—————- 07:02:15

चंद्रास्त—————- 21:17:26

लग्न—-  मिथुन 15°0′ , 75°0′

सूर्य नक्षत्र—————— आर्द्रा

चन्द्र नक्षत्र——————- पुष्य

नक्षत्र पाया——————- रजत

*???  पद, चरण  ???*

हु—-पुष्य 07:49:17

हे—- पुष्य 14:31:56

हो—- पुष्य 21:13:49

ड—- पुष्य 27:54:52

*???  ग्रह गोचर  ???*

        ग्रह =राशी   , अंश  ,नक्षत्र,  पद

==========================

सूर्य=मिथुन      15:12    आर्द्रा  ,      3     ड

चन्द्र = मिथुन      05°23,   पुष्य,      1      वो

बुध =वृषभ 28  ° 07′   मृगशिरा    ‘   1      वे

शुक्र=वृषभ    15°05,  रोहिणी      ‘  2        वा

मंगल=मेष  02°30  ‘      अश्विनी ‘    1         चू

गुरु=मीन  13°30 ‘   उ o भा o,      3         झ

शनि=कुम्भ 00°33 ‘      उ o भा o   ‘  3      गु

राहू=(व) मेष  25°50′     भरणी ,   4        लो

केतु=(व) तुला 25°50    विशाखा , 2          तू

*??? मुहूर्त प्रकरण ???*

राहू काल 10:39 – 12:23 अशुभ

यम घंटा 15:50 – 17:34 अशुभ

गुली काल 07:12 – 08:56 अशुभ

अभिजित 11:55 – 12:51 शुभ

दूर मुहूर्त 08:14 – 09:10 अशुभ

दूर मुहूर्त 12:51 – 13:46 अशुभ

?गंड मूल 27:55* – अहोरात्र अशुभ

?चोघडिया, दिन

चर 05:29 – 07:12 शुभ

लाभ 07:12 – 08:56 शुभ

अमृत 08:56 – 10:39 शुभ

काल 10:39 – 12:23 अशुभ

शुभ 12:23 – 14:07 शुभ

रोग 14:07 – 15:50 अशुभ

उद्वेग 15:50 – 17:34 अशुभ

चर 17:34 – 19:17 शुभ

?चोघडिया, रात

रोग 19:17 – 20:34 अशुभ

काल 20:34 – 21:50 अशुभ

लाभ 21:50 – 23:07 शुभ

उद्वेग 23:07 – 24:23* अशुभ

शुभ 24:23* – 25:40* शुभ

अमृत 25:40* – 26:56* शुभ

चर 26:56* – 28:13* शुभ

रोग 28:13* – 29:29* अशुभ

?होरा, दिन

शुक्र 05:29 – 06:38

बुध 06:38 – 07:47

चन्द्र 07:47 – 08:56

शनि 08:56 – 10:05

बृहस्पति 10:05 – 11:14

मंगल 11:14 – 12:23

सूर्य 12:23 – 13:32

शुक्र 13:32 – 14:41

बुध 14:41 – 15:50

चन्द्र 15:50 – 16:59

शनि 16:59 – 18:08

बृहस्पति 18:08 – 19:17

?होरा, रात

मंगल 19:17 – 20:08

सूर्य 20:08 – 20:59

शुक्र 20:59 – 21:50

बुध 21:50 – 22:41

चन्द्र 22:41 – 23:32

शनि 23:32 – 24:23

बृहस्पति 24:23* – 25:14

मंगल 25:14* – 26:05

सूर्य 26:05* – 26:56

शुक्र 26:56* – 27:47

बुध 27:47* – 28:38

चन्द्र 28:38* – 29:29

*?? उदयलग्न प्रवेशकाल  ??*

मिथुन  > 04:40  से  05:56 तक

कर्क    > 05:56  से  08:20  तक

सिंह    > 08:20   से 10:24  तक

कन्या  >  10:24  से  12:40  तक

तुला   >  12:40  से   14:55  तक

वृश्चिक > 14:55   से  17:10 तक

धनु     > 17:10   से   19:20 तक

मकर   > 19:20   से 21:02   तक

कुम्भ   > 21:02  से  22:36  तक

मीन    > 22:36  से 23:02  तक

मेष     > 23:02   से  01:46 तक

वृषभ   > 01:46  से  04:40  तक

*?विभिन्न शहरों का रेखांतर (समय)संस्कार*

       (लगभग-वास्तविक समय के समीप)

दिल्ली +10मिनट——— जोधपुर -6 मिनट

जयपुर +5 मिनट—— अहमदाबाद-8 मिनट

कोटा   +5 मिनट———— मुंबई-7 मिनट

लखनऊ +25 मिनट——–बीकानेर-5 मिनट

कोलकाता +54—–जैसलमेर -15 मिनट

*नोट*– दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है।

प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।

चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।

शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥

रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।

अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥

अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।

उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।

शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।

लाभ में व्यापार करें ।

रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।

काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।

अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।

*?दिशा शूल ज्ञान————-पश्चिम*

परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो  घी अथवा काजू खाके यात्रा कर सकते है l

इस मंत्र का उच्चारण करें-:

*शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l*

*भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll*

*?  अग्नि वास ज्ञान  -:*

*यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,*

*चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।*

*दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,*

*नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।।* *महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्*

*नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।*

  2 +  6 + 1 = 9  ÷ 4 = 1 शेष

 पाताल लोक पर अग्नि वास हवन के लिए अशुभ कारक है l

*?? ग्रह मुख आहुति ज्ञान ??*

सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु  आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है

 सूर्य ग्रह मुखहुति

*?    शिव वास एवं फल -:*

  2 + 2 + 5 =  9 ÷ 7 = 2  शेष

 गौरि सन्निधौ  = शुभ कारक

*?भद्रा वास एवं फल -:*

*स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।*

*मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।*

*??    विशेष जानकारी   ??*

*श्री जगन्नाथ महाप्रभु रथ यात्रा (पूरी) उड़ीसा

*श्री वल्लभाचार्य पुण्य तिथि

*डाक्टर्स/सी ए दिवस

*रजर्षि टंडन निधन दिवस

*???   शुभ विचार   ???*

एदतर्थं कुलोनानां नृपाः कुर्वन्ति संग्रहम् ।

आदिमध्यावसानेषु न स्यजन्ति च ते नृपम् ।।

।। चा o नी o।।

राजा लोग अपने आस पास अच्छे कुल के लोगो को इसलिए रखते है क्योंकि ऐसे लोग ना आरम्भ मे, ना बीच मे और  ना ही  अंत मे साथ छोड़कर जाते है।

*???  सुभाषितानि  ???*

गीता -: मोक्षसान्यांसयोग अo-18

यज्ञदानतपःकर्म न त्याज्यं कार्यमेव तत्‌ ।,

यज्ञो दानं तपश्चैव पावनानि मनीषिणाम्‌ ॥,

 यज्ञ, दान और तपरूप कर्म त्याग करने के योग्य नहीं है, बल्कि वह तो अवश्य कर्तव्य है, क्योंकि यज्ञ, दान और तप -ये तीनों ही कर्म बुद्धिमान पुरुषों को (वह मनुष्य बुद्धिमान है, जो फल और आसक्ति को त्याग कर केवल भगवदर्थ कर्म करता है।,) पवित्र करने वाले हैं॥,5॥,

*??   दैनिक राशिफल   ??*

देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।

नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।

विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।

जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।

?मेष

किसी अपरिचित की बातों में न आएं। धनहानि हो सकती है। थोड़े प्रयास से ही काम सफल रहेंगे। मित्रों की सहायता करने का अवसर प्राप्त होगा। सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। लाभ के अवसर प्राप्त होंगे। किसी प्रबुद्ध व्यक्ति का मार्गदर्शन प्राप्त होगा। नौकरी में उच्चाधिकारी प्रसन्न रहेंगे।

?वृष

जोखिम व जमानत के कार्य टालें। शारीरिक कष्ट संभव है। व्यवसाय धीमा चलेगा। नौकरी में उच्चाधिकारी की नाराजी झेलनी पड़ सकती है। परिवार में मनमुटाव हो सकता है। सुख के साधनों पर व्यय सोच-समझकर करें। निवेश करने से बचें। व्यापार ठीक चलेगा। आय बनी रहेगी। मित्रों का सहयोग मिलेगा।

?मिथुन

परिवार की आवश्यकताओं के लिए भागदौड़ तथा व्यय की अधिकता रहेगी। वाहन व मशीनरी के प्रयोग में विशेष सावधानी की आवश्यकता है। दूसरों के झगड़ों में न पड़ें। कार्य की गति धीमी रहेगी। चिंता तथा तनाव रहेंगे। निवेश करने का समय नहीं है। नौकरी में मातहतों से अनबन हो सकती है, धैर्य रखें।

?कर्क

किसी की बातों में न आएं। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। नवीन वस्त्राभूषण पर व्यय होगा। अचानक लाभ के योग हैं। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। व्यापार में वृद्धि से संतुष्टि रहेगी। नौकरी में जवाबदारी बढ़ सकती है। पारिवारिक सहयोग मिलेगा। उत्साह से काम कर पाएंगे।

?सिंह

कोई राजकीय बाधा हो सकती है। जल्दबाजी में कोई भी गलत कार्य न करें। विवाद से बचें। काफी समय से अटका हुआ पैसा मिलने का योग है, प्रयास करें। या‍त्रा लाभदायक रहेगी। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। वस्तुएं संभालकर रखें।

?‍♀️कन्या

अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। कर्ज लेने की स्थिति बन सकती है। पुराना रोग बाधा का कारण बन सकता है। अपेक्षित कार्यों में विलंब हो सकता है। चिंता तथा तनाव रहेंगे। प्रेम-प्रसंग में जल्दबाजी न करें। प्रतिद्वंद्विता में वृद्धि होगी। व्ययसाय लाभप्रद रहेगा। कार्य पर ध्यान दें।

⚖️तुला

यात्रा सफल रहेगी। शारीरिक कष्ट हो सकता है। बेचैनी रहेगी। नई योजना बनेगी। लोगों की सहायता करने का अवसर प्राप्त होगा। सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। काफी समय से अटके काम पूरे होने के योग हैं। भरपूर प्रयास करें। आय में मनोनुकूल वृद्धि होगी। पार्टनरों का सहयोग मिलेगा। निवेश शुभ रहेगा।

?वृश्चिक

तरक्की के अवसर प्राप्त होंगे। भूमि व भवन संबंधी बाधा दूर होगी। आय में वृद्धि होगी। मित्रों के साथ बाहर जाने की योजना बनेगी। रोजगार प्राप्ति के योग हैं। परिवार व स्नेहीजनों के साथ विवाद हो सकता है। शत्रुता में वृद्धि होगी। अज्ञात भय रहेगा। थकान महसूस होगी। व्यवसाय ठीक चलेगा।

?धनु

कष्ट, भय, चिंता व तनाव का वातावरण बन सकता है। जीवनसाथी पर अधिक मेहरबान होंगे। कोर्ट व कचहरी के कार्यों में अनुकूलता रहेगी। लाभ में वृद्धि होगी। पारिवारिक प्रसन्नता तथा संतुष्टि रहेगी। निवेश शुभ रहेगा। व्यय होगा। मित्रों से मेलजोल बढ़ेगा। नए संपर्क बन सकते हैं। धनार्जन होगा।

?मकर

व्ययवृद्धि से तनाव रहेगा। बजट बिगड़ेगा। दूर से शोक समाचार मिल सकता है, धैर्य रखें। किसी महत्वपूर्ण निर्णय लेने में जल्दबाजी न करें। भागदौड़ रहेगी। बोलचाल में हल्के शब्दों के प्रयोग से बचें। पुराना रोग उभर सकता है। व्यापार में अधिक ध्यान देना पड़ेगा। जोखिम न उठाएं।

?कुंभ

किसी आनंदोत्सव में भाग लेने का अवसर प्राप्त होगा। विद्यार्थी वर्ग सफलता हासिल करेगा। मनपसंद भोजन का आनंद मिलेगा। व्यापार में वृद्धि के योग हैं। परिवार व मित्रों के साथ समय प्रसन्नतापूर्वक व्यतीत होगा। शारीरिक कष्ट संभव है, सावधान रहें। निवेश शुभ रहेगा। तीर्थयात्रा की योजना बन सकती है।

?मीन

दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे। घर में मेहमानों का आगमन होगा। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। व्यापार में लाभ होगा। निवेश शुभ रहेगा। संतान पक्ष से आरोग्य व अध्ययन संबंधी चिंता रहेगी। दुष्टजनों से दूरी बनाए रखें। हानि संभव है। भाइयों का साथ मिलेगा।

?आपका दिन मंगलमय हो?

?????????

*आचार्य  नीरज  पाराशर (वृन्दावन)*

(व्याकरण,ज्योतिष,एवं पुराणाचार्य)

09897565893,09412618599

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