लखनऊ की एक ऐसी विधानसभा जहाँ आजादी के बाद पहली बार खिला कमल

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में इस बार भारतीय जनता पार्टी ने कई तिलिस्म और कई पिछले रिकॉर्ड तोड़े हैं । इसी क्रम में भारतीय जनता पार्टी ने राजधानी लखनऊ की मोहनलालगंज विधानसभा सीट पर 70साल के हार के रिकार्ड को तोड़कर ऐतिहासिक जीत दर्ज की है।
बता दें कि 2017 विधानसभा चुनाव में मोदी लहर के दौरान मोहनलालगंज विधानसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी को हार का सामना करना पड़ा था, लेकिन इस बार सपा ने पूर्व सासंद सुशीला सरोज को मैदान में उतारा था ।
भाजपा के अमरेश कुमार रावत ने उन्हें 16736 वोटों से हराकर ऐतिहासिक जीत दर्ज की है। आपको बता दें कि देश के पहले विधानसभा चुनाव के साथ मोहनलालगंज सीट अस्तित्व में है मोहनलालगंज की सीट सुरक्षित समाजवादी पार्टी की परंपरागत मानी जाती रही है।
लेकिन कई दशकों के बाद गुरूवार को भारतीय जनता पार्टी ने मोहनलालगंज की सीट पर अपना कब्जा जमाया है। आपको बता दें कि आजादी के बाद 1951 में इस सीट का गठन हुआ था। लेकिन तब से लेकर आज तक केवल काग्रेंस, बहुजन समाज पार्टी और समाजवादी पार्टी का दबदबा रहा है लेकिन सात दशकों के बाद पहली बार मोहनलालगंज की सीट पर कमल खिला है।
पुष्‍कर के समर्थकों की नाराजगी सपा को पड़ी भारी
मोहनलालगंज विधानसभा सीट पर सपा प्रत्याशी सुशीला सरोज के हराने की मुख्य वजह सपा के पूर्व विधायक अम्बरीश पुष्कर के समर्थकों की नाराजगी रही। भाजपा प्रत्‍याशी की जीत का जो मौका मिला उसमें पुष्‍कर के सर्पोटरों की सपा के प्रति नाराजगी भी शामिल मानी जा रही है।
लाख कोशिशों के बाद पुष्कर के समर्थकों का वोट सपा को नहीं मिला सका जो मोहनलालगंज विधानसभा सीट पर सपा की हार का बड़ा कारण बना।मोहनलालगंज विधानसभा (सुरक्षित) सीट पर सबसे ज्यादा पासी व कुर्मी मतदाता है ।

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