मुख्यमंत्री के आदेश के बावजूद भी जिला मुख्यालय में ट्रैफिक चौराहा, रेलवे स्टेशन रोड, बस स्टॉप के आगे पांडे कॉलोनी के पास ,गंगा जी रोड ,प्रमुख स्थान में वाहन स्टैंड अवैध तरीके से बने हुए है कब होगी इन पर कार्यवाही
चित्रकूट जिला मुख्यालय से लेकर पूरे जिले की तमाम सड़कों पर डग्गामार वाहनों की भरमार है। नियमों की धज्जियां उड़ाकर ऐसे वाहन थाने और पुलिस चौकियों के सामने से फर्राटे भरते हुए निकल जाते हैं, लेकिन पुलिस को इन वाहनों पर कार्रवाई करने की उस समय याद आती है, जब कोई बड़ा हादसा हो जाए।
बीते कुछ दिनों में इन वाहनों के अनियंत्रित होकर पलटने से कई हादसे हो चुके हैं।इन वाहनों में सफर करना खतरे से खाली नहीं है। क्योंकि 5 से 7 सीटर पास इन वाहनों में 18 से 22 सवारियां भरी जाती है। ये कैसे संभव हो सकता है तो फोटो देखकर आप इसका अंदाजा लगा सकते हैं। इतनी सवारियों को कमांडर जीप, टाटा मैक्स, बुलेरो में भूसे की तरह अंदर भरने के बाद छतों पर बैठाकर, वाहन के पीछे और साइडों से लटका कर सफर कराया जाता है।
अब सवाल यह उठता है कि यातायात प्रभारी को आखिर क्यों नहीं दिखती जिला मुख्यालय की सड़कों पर प्राइवेट डग्गामार वाहन विगत 5 वर्षों से लगातार अंगद की तरफ पैर जमाए हुए यातायात प्रभारी जनपद के हर चौराहे वा मुख्य मार्गों में रोड के किनारे जगह जगह टेंपो स्टैंड बस स्टैंड जीप स्टैंड आप को जिला मुख्यालय में दिखेंगे आखिर क्यों। इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि यातायात प्रभारी योगेश यादव कि सह पर ही ये स्टैंड बनाए हुए हैं और जिले के जिम्मेदार अधिकारियों के नजरों में धूल झोंक रहे हैं। अब ऐसे में कैसे पूरा होगा ज़िम्मेदार अधिकारियों का सपना। क्या ऐसे ही यातायात प्रभारी द्वारा खुली छूट देकर डग्गामार वाहनों को रोड़ पर चलवाया जाएगा।
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